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Credit Card से ज्यादा खर्च बढ़ा सकता है कर्ज का बोझ, क्रेडिट स्कोर पर भी पड़ता है असर

आज के दौर में बदलते हुए लाइफस्टाइल में बहुत कुछ बदल चुका हैं पहले जहां हम कुछ भी शॉपिंग करते थे तो उसका भुगतान कैश करते थे लेकिन समय के साथ इसमें में भी बदलाव आ गया हैं। अब ज्यादातर लोग क्रेडिट कार्ड के माध्यम से भुगतान करने लगें हैं, इसी वजह से अब काफी लोग क्रेडिट कार्ड (Credit Card) का उपयोग करने लगें हैं, वैसे तो क्रेडिट होने के कई फायदे हैं जैसेकि आप पहले खरीदारी कर सकते हैं और बाद में उसका भुगतान कर सकते हैं।

कई बार आपातकालीन परिस्थितियों में भी क्रेडिट कार्ड हमारे बहुत काम आता हैं, भले ही क्रेडिट कार्ड के काफी फायदे हैं लेकिन क्रेडिट कार्ड का इस्तेमाल काफी सोच समझ कर ही करना चाहिए और जब इसका इस्तेमाल करना बेहद जरूरी हो तभी इसका प्रयोग करना चाहिए। क्रेडिट कार्ड के ज्यादा इस्तेमाल या बिना जरूरत के इस्तेमाल करने से आपके लिए परेशानी बढ़ सकती हैं, आइये जानते हैं कि क्या होता हैं क्रेडिट कार्ड से ज्यादा खर्च करने पर।

Credit Score पर भी पड़ता है असर

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आज के समय में शायद ही कोई ऐसा होगा जिन्हें क्रेडिट स्कोर की अहमियत का अंदाजा ना हो, क्रेडिट स्कोर के चलते ही ये सुनिश्चित होता हैं कि हमें भविष्य में जरूरत के समय लोन मिल सकता हैं या नहीं और कितनी ब्याज दर पर मिल सकता हैं। इसके अलावा अच्छे क्रेडिट स्कोर होने से भविष्य में किसी चीज को फाइनेंस करवाने में आसानी रहती हैं, वहीं अगर क्रेडिट स्कोर कम हैं तो बैंक और फाइनेंशियल इंस्टीट्यूशन आपको ऋण देने में कतराएंगे।

फाइनेंस क्षेत्र से जुड़े विशेषज्ञों के अनुसार भले ही आप अपने क्रेडिट कार्ड (Credit Card) पर चल रही ईएमआई और लोन की किस्तों को समय पर चुका रहे हो लेकिन फिर भी आपका क्रेडिट स्कोर  होता जाता हैं। दरअसल जब आपका क्रेडिट यूटिलाइजेशन रेश्यो 30 फीसदी से ज्यादा हो जाती हैं तो आपका क्रेडिट स्कोर कम होने लगता हैं और जैसे-जैसे आपके क्रेडिट कार्ड पर क्रेडिट यूटिलाइजेशन बढेगा वैसे-वैसे आपका क्रेडिट स्कोर कम होने लगेगा।

Credit Score के कम होने की वजहें

क्रेडिट स्कोर केवल आपके द्वारा किये गए खर्च पर ही निर्भर नही करता बल्कि जब आप सीमित अवधि में कई बार लोन या क्रेडिट कार्ड के लिए अप्लाई करते हैं तो इस बात की जानकारी बैंक क्रेडिट ब्यूरो को देता हैं जिससे आपके क्रेडिट स्कोर पर नकारात्मक प्रभाव पड़ता हैं। कई बार आप अपनी गारंटी पर अपने किसी रिश्तेदार या मित्र को लोन दिलवा देते हैं और वो लोन का समय पर भुगतान नही करता हैं तो इससे आपके क्रेडिट स्कोर पर प्रभाव पड़ेगा और वो कम हो जाएगा।

अगर आप ने एक-दो महीनों में क्रेडिट कार्ड से ज्यादा खर्चा कर लिया हैं तो उसके बाद बैंक से अपने क्रेडिट कार्ड की लिमिट को बार-बार बढ़ाने के लिए ना कहे क्योंकि इसका प्रभाव भी आपके क्रेडिट स्कोर पर पड़ेगा। इससे बेहतर होगा कि आप अपने खर्चों को सोच-समझ कर करें।

कैसे तय होती है Credit Utilization Ratio

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क्रेडिट यूटिलाइजेशन रेश्यो आपके क्रेडिट कार्ड की लिमिट और उसके द्वारा हुए खर्च का एक अनुपात होता हैं, कहा जाता हैं कि अच्छे क्रेडिट स्कोर के लिए ये 30 प्रतिशत से ज्यादा नहीं होना चाहिए। उदाहरण के तौर पर अगर आपके क्रेडिट कार्ड की कुल लिमिट 1 लाख हैं और आप उसके द्वारा 20 हजार रुपये खर्च करते हैं तो ऐसे में आपकी क्रेडिट यूटिलाइजेशन रेश्यो 20 प्रतिशत हुई।

क्रेडिट स्कोर की शुरुआत 300 से होती हैं, 300 से लेकर 579 तक के क्रेडिट स्कोर को खराब माना जाता हैं, 580 से 669 तक संतोषजनक, 670 से 739 क्रेडिट स्कोर अच्छा समझा जाता हैं, 749 से 799 क्रेडिट स्कोर को काफी अच्छा कहा जाता हैं जबकि 800 से 850 के बीच क्रेडिट स्कोर को सबसे बढ़िया यानी सर्वोत्तम माना जाता हैं।