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किन आधारों पर बांटा जाता है भारत देश में पासपोर्ट का रंग, जानें पूरा विवरण

किन आधारों पर बांटा जाता है भारत देश में पासपोर्ट का रंग, जानें पूरा विवरण

यह तो आप सभी जानते ही होंगे कि पासपोर्ट की आवश्यकता विदेशों में यात्रा करने के लिए होती है, यह एक ऐसा स्वीकृति पत्र है जिसे पाकर आप दुनिया के किसी कोने में बड़े ही आसानी से घूम सकते हैं। हालांकि अपने पड़ोसी देशों जैसे-नेपाल व भूटान में घूमने के लिए भारतवासीयों को कुछ रियायतें मिली हुई हैं। अगर कोई भारतीय नागरिक नेपाल या फिर भूटान की यात्रा करना चाहता है तो उसके पास वैध पासपोर्ट, भारत सरकार द्वारा जारी एक फोटो पहचान पत्र या चुनाव आयोग द्वारा जारी पहचान पत्र है तो उसे वीजा की आवश्यकता नहीं पड़ेगी।

पर आज हम आपको पासपोर्ट से जुड़ी ऐसी जानकारियां देने जा रहे हैं जिसे काफी कम लोग जानते होंगे। दरअसल हम बात करने जा रहे हैं पासपोर्ट के रंगो से संबंधित जानकारी की। ये सुनते ही आपको लग रहा होगा कि पासपोर्ट तो एक ही रंग का होता है और वह है नीला तो आप गलत सोचते हैं क्योंकि भारत में अभी 4 रंगों के पासपोर्ट दिए जाते हैं। जिसमें से ज्यादातर आपको नीले रंग के ही पासपोर्ट देखने को मिलते हैं क्योंकि ये आम जनता को दिया जाता है। बाकी के 3 रंग के पासपोर्ट किसे और क्यों दिए जाते हैं इसके बारे में आगे जानते हैं…

किस आधार पर तय होता है आपके पासपोर्ट का रंग

अब कुछ लोगों के मन मे इस भी सवाल उठ रहा होगा कि आखिर किन लोगों को किस रंग के पासपोर्ट मिलते होंगे? और इसका विभाजन किस आधार पर किया जाता होगा?

किन आधारों पर बांटा जाता है भारत देश में पासपोर्ट का रंग, जानें पूरा विवरण

नीला पासपोर्ट: भारत के आम लोगों को नीले रंग का पासपोर्ट जारी किया जाता है, यही वजह है कि ज्यादातर लोग नीले रंग के पासपोर्ट से ही परिचित होते हैं लेकिन यह रंग विशेष अधिकारियों व आम लोगों में अंतर करने के लिए जनता को दिया जाता है।

वाइट पासपोर्ट: जो अधिकारी सरकारी काम करने के लिए विदेशों यात्रा करते हैं उनको सफेद रंग का पासपोर्ट जारी किया जाता है। इतना ही नहीं सफेद रंग के पासपोर्ट वाले अधिकारियों को एयरपोर्ट पर इमीग्रेशन प्रक्रिया से भी जल्द छुटकारा मिल जाता है यानी कि उनको अधिकारी विशेष रूप से ट्रीट करते हैं और इस प्रक्रिया में इन्हें ज्यादा समय तक नहीं उलझना पड़ता है।

मरून पासपोर्ट: भारत के राजनयिक अधिकारियों या फिर वरिष्ठ अधिकारियों को मरून रंग का पासपोर्ट दिया जाता है, सबसे खास बात तो यह होती है की मरून रंग के पासपोर्ट वाले व्यक्तियों को किसी भी विदेश यात्रा के लिए वीजा की आवश्यकता नहीं पड़ती है। इतना ही नहीं एयरपोर्ट पर होने वाले इनके इमीग्रेशन प्रक्रिया को भी बहुत जल्द से जल्द खत्म कर दिया जाता है।

किन आधारों पर बांटा जाता है भारत देश में पासपोर्ट का रंग, जानें पूरा विवरण

ऑरेंज पासपोर्ट: हाल ही में सरकार ने ऑरेंज कलर के पासपोर्ट को लेकर घोषणा की है। अभी से पहले इस रंग का पासपोर्ट भारत देश में चलन में नहीं था लेकिन अब बेहद जल्द ये चलन में आ जाएगा। यह रंग का पासपोर्ट उन्हीं लोगों को दिया जाएगा जो दसवीं पास हैं और वह विदेश जाने की इच्छा रखते हैं इस पासपोर्ट पर उससे संबंधित सभी महत्वपूर्ण जानकारियां निहित होगी। ऑरेंज रंग के पासपोर्ट धारकों को इमिग्रेशन अधिकारियों के सभी मानदंडों पर खरा उतरना आवश्यक होता है।

हालांकि विश्व में जितने भी देश हैं सभी को अपने पासपोर्ट के रंग चुनने की आजादी मिली हुई है और हर किसी ने अपने हिसाब से एक निश्चित रंग को चुना है। ये रंग चुनने के पीछे भी कुछ विशेष कारण छिपे होते हैं जिसे सभी देश ध्यान में रखकर ही चुनते हैं। माना जाता है कि पासपोर्ट का रंग उस देश का प्रतिनिधित्व भी करते हैं, इसका उदाहरण हम आपको कुछ देशों के पासपोर्ट के रंगों से समझा सकते हैं।

* कम्यूनिस्ट देश हमेशा ही पासपोर्ट के लिए लाल रंग को चुनता है।
* दुनिया में जितने भी इस्लामिक देश हैं वो अपने पासपोर्ट के लिए हरे रंग का चुनाव करते हैं।
* यूरोपीयन यूनियन के सारे देशों के सिविल पासपोर्ट का रंग बरगंडी लाल होता है।
* स्विस देश अपने पासपोर्ट का रंग नारंगी रखता है।
* कैरेबीयन कम्यूनिटी के देश या बाकी के अधिकतर देश अपने पार्सपोर्ट का रंग नीला ही रखते हैं।

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