क्या आप जानते हैं पूर्व विदेश मंत्री सुषमा स्वराज ने अपने नाम किए थें ये रिकार्ड
भारत के राजनितिक गलियारों में आज सन्नाटा पसरा हुआ है और चारों ओर मायूसी छा गयी है। भारत की पूर्व विदेश मंत्री और भारतीय जनता पार्टी की दिग्गज नेत्री सुषमा स्वराज का मंगलवार रात निधन हो गया और भारतीय जनता पार्टी के लिए यह बहुत ही निराशाजनक बात है। भारत ने एक श्रेष्ठ वक्ता और उत्कृष्ठ नेतृत्व वाले व्यक्तित्व को खो दिया है जिसने भारत की राजनीती में अपना योगदान दिया था। काफी दिनों से सुषमा स्वराज की तबियत ठीक नहीं चल रही थी जिसके चलते उन्हें दिल्ली के एम्स अस्पताल में कराया गया भर्ती कराया गया था और बीती रात कार्डिएक अरेस्ट आने से उनका निधन हो गया और इस खबर ने सभी की आंखे नम कर दी हैं।
सुषमा स्वराज दर्ज कर गयी ये रिकॉर्ड
सुषमा स्वराज ने अपनी आंखे हमेशा के लिए बंद करने से पहले अपने नाम बहुत सारे कीर्तिमान किये हैं जिसके चलते उन्हें पूरी दुनिया याद रखेगी। पूर्व विदेश मंत्री सुषमा स्वराज ने इंसानियत की कई मिसालें अपने कार्यकाल में दुनिया को दी हैं जिसके चलते उन्होंने पाकिस्तान तक के लोगों की गुहार सुन उन्हें इलाज के लिए भारत आने की अनुमति भी दी थी। अपने विनम्र स्वाभाव से सुषमा हमेशा लोगों की मदद के लिए तैयार रहती थीं और विदेशों में बसे भारतीयों पर जब भी संकट आया, उनकी मदद के लिए सुषमा स्वराज ने कभी देर नहीं की।
ट्विटर के जरिए सभी लोग उन तक अपनी आवाज पहुंचाते थे और वह सभी की मदद के लिए तुरंत एक्शन लेती थीं। नौ बार सांसद रहीं सुषमा स्वराज को ट्वीटर पर एक करोड़ 20 लाख से अधिक लोग फॉलो करते थे। बता दें कि 67 साल की सुषमा राजनीति में 25 बरस की उम्र में आईं थीं और वह सन 1977 में हरियाणा में सबसे कम उम्र की मंत्री बनी थीं। पूर्व विदेश मंत्री सुषमा के राजनीतिक गुरु लाल कृष्ण आडवाणी रहे थे।
सुषमा स्वराज : पहली महिला मुख्यमंत्री
14 फरवरी 1952 जन्मी सुषमा स्वराज ने अंबाला के एसडी कॉलेज से बीए और पंजाब विश्वविद्यालय चंडीगढ़ से कानून में डिग्री हासिल की थी जिसके बाद सुप्रीम कोर्ट में 1973 में उन्होंने वकालत शुरू कर दी थी। बता दें कि पंजाब यूनिवर्सिटी में भी उन्हें 1973 में सर्वोच्च वक्ता का सम्मान मिला था। सुप्रीम कोर्ट के वकील स्वराज कौशल से सुषमा स्वराज का विवाह हुआ और उनकी एक बेटी हैं जिसका नाम बांसुरी है। सुषमा जी, अटल बिहारी वाजपेयी के नेतृत्व वाली एनडीए सरकार में वे सूचना एवं प्रसारण मंत्री और स्वास्थ्य मंत्री रहीं हैं। सुषमा स्वराज दिल्ली की पहली महिला मुख्यमंत्री बनीं।
सन 2014 में वे भारत की विदेश मंत्री बनने वाली सुषमा स्वराज पहली महिला बनीं। इसके अलावा वह बीजेपी की पहली महिला मुख्यमंत्री और लोकसभा में पहली महिला विपक्षी नेता और देश में किसी राजनीतिक दल की पहली महिला प्रवक्ता भी बनीं। सुषमा स्वराज ने अस्वस्थता के कारण ही पिछला लोकसभा चुनाव न लड़ने का फैसला लिया था। इतना ही नहीं सुषमा स्वराज ने अप्रैल-जून की वित्तीय तिमाही में खजाने की आधिकारिक भेंटों की अधिकतम संख्या जमा कर नया रिकॉर्ड अपने नाम किया था। दरअसल प्रोटोकॉल के अनुसार, प्रधान मंत्री और विदेशों से अन्य अधिकारियों द्वारा प्राप्त सभी उपहारों को मूल्यांकन के लिए तोशखाना में जमा किया जाना होता है।
इसके अलावा आपको ये भी बता दें की सुषमा स्वराज ने तोशखाना में 6.70 करोड़ रुपये एक ज्वैलरी सेट और 1,000 रुपये मूल्य की लकड़ी की शोपीस को जमा किया था और इसके अलावा उन्होंने विदेश यात्रा पर भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण द्वारा एक सुनहरा मुखौटा प्राप्त किया, जिसे भी उन्होंने सरकारी खजाने में सौंप दिया था। बता दें कि मंगलवार को सुषमा स्वराज का आखिरी ट्वीट था जिसके बाद उनका निधन हो गया। लोकसभा में जम्मू-कश्मीर में अनुच्छेद 370 समाप्त होने और राज्य का पुनर्गठन होने पर शाम को सुषमा स्वराज ने ट्वीट करके पीएम नरेंद्र मोदी को बधाई देते हुए लिखा था कि ‘प्रधानमंत्री जी – आपका हार्दिक अभिनन्दन। मैं अपने जीवन में इस दिन को देखने की प्रतीक्षा कर रही थी।’
बताते चलें की सुषमा स्वराज के निधन पर पीएम मोदी ने ट्वीट कर उनको श्रद्धांजलि देते हुए ट्वीट किया कि ‘भारतीय राजनीति का एक महान अध्याय ख़त्म हो गया है। भारत अपने एक असाधारण नेता के निधन का शोक मना रहा है, जिन्होंने लोगों की सेवा और गरीबों की ज़िंदगी बेहतर के लिए अपना जीवन समर्पित कर दिया। सुषमा स्वराज जी अनूठी थीं, जो करोड़ों लोगों के लिए प्रेरणा स्रोत थी। सुषमा जी अद्भुत वक्ता और बेहतरीन सांसद थीं। उन्हें सभी पार्टियों से सम्मान मिला। बीजेपी की विचारधारा और हित के मामले में वो कभी समझौता नहीं करती थीं। बीजेपी के विकास में उन्होंने बड़ा योगदान दिया।’
यह भी पढ़ें :
यूएन में गरजी भारत की विदेश मंत्री सुषमा स्वराज, ‘आतंकिस्तान’ का किया सर्जिकल स्ट्राइक