फिल्म शोले बनाने में इतना हुआ था खर्च और कमाई हुई इतनी
Youthtrend Bollywood Gossips : गब्बर सिंह, जय-वीरू की दोस्ती, बसन्ती का तांगा चलाना, अब तक आप समझ ही गए होंगे कि हम किस की बात कर रहें हैं, जी हां हम बात कर रहें हैं हिंदी सिनेमा की अब तक की सबसे बड़ी सुपरहिट फिल्म 'शोले' की। जब बचपन में टीवी पर 'शोले' का प्रसारण होता था तो हम टीवी से चिपक जाते थे।
70 के दशक में बनी ये फिल्म बड़े-बड़े सितारों से सुसज्जित थी और इसके सभी किरदारों ने फिल्म में अपनी भूमिका को बेहतरीन तरीके से निभाया था भले ही ठाकुर के रूप में संजीव कुमार हो या गब्बर सिंह का किरदार निभाने वाले अमजद खान, अंग्रेजो के जमाने के जेलर बने असरानी हो या तांगा चलाने वाली चुलबुली लड़की हेमा मालिनी हो और जय-वीरू यानी अमिताभ बच्चन और धर्मेंद्र की तो बात ही क्या थी। क्या आप जानते हैं आज से लगभग 45 वर्ष पहले बनी इस फिल्म में कितना खर्च आया था और कितनी कमाई इस फिल्म ने की आइये जानते हैं।
70 के दशक में बनने वाली सबसे महंगी फिल्म थी शोले
जब शोले फिल्म बन रही थी तो किसी को भी ये मालूम नहीं था कि ये फिल्म इतनी बड़ी सुपरहिट साबित होने जा रही हैं अपने समय की ये सबसे बड़े बजट की फिल्म थी 15 अगस्त 1975 को रिलीज हुई शोले फिल्म के अगर कुल बजट की बात की जाए तो ये 3 करोड़ था, आपके सुनने में शायद थोड़ा आश्चर्य हो कि 70 के दशक में बनी इस फिल्म पर 3 करोड़ खर्च हुए थे तो हम आपकों बताना चाहेंगे कि ये बात बिल्कुल सही हैं। रिलीज होने के तुरंत बाद इस फिल्म को फ्लॉप कहा जा रहा था, लेकिन जैसे ही फिल्म अपनी रिलीज के तीसरे सप्ताह में पहुंची तो फिल्म को सफलता मिलने लगी थी।
3 करोड़ में बनने वाली शोले ने करी थी कितनी कमाई
फिल्म की कमाई की गणना करने के लिए फिल्म की औसत टिकट की कीमत के हिसाब से करी जाती है जो फिल्म अपने रिलीज होने वाले साल में बेचने में कामयाब होती हैं, अगर शोले की कमाई की बात की जाए तो फिल्म शोले ने उस समय 50 करोड़ की कमाई की थी और आजतक की कमाई की बात करें तो इसने लगभग 1500 करोड़ की कमाई की थी। शोले से ज्यादा कमाई करने वाली हिंदी फिल्म मुगल-ए-आजम और मदर इंडिया हैं।
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क्यों बढ़ गया था शोले फिल्म का बजट
रमेश सिप्पी द्वारा निर्देशित फिल्म शोले के इतने महंगे बजट में बनने के पीछे मुख्य वजह थी फिल्म के कई दृश्यों का बार-बार शूट होना, इसके अलावा फिल्म की कास्टिंग में रमेश सिप्पी ने 20 लाख रुपये खर्च किये थे, रमेश सिप्पी अपनी इस फिल्म का हर दृश्य परफेक्ट रखना चाहते थे फिल्म के एक दृश्य के लिए तो रमेश सिप्पी ने लगभग तीन साल का इंतज़ार किया था।